जहरीली शराब पीने के बाद हुई मौतों के मामले में पैनल टीम द्वारा पोस्टमार्टम कराने के बाद सोमवार को मंदसौर पहुंचे प्रदेश कांग्रेस महामंत्री श्यामलाल जोकचन्द्र ने परिजनों को आर्थिक सहायता देने की मांग को लेकर शव लेने से इंकार कर दिया। उनका कहना था जब तक प्रशासन ने मृतकों के परिजनों को आर्थिक सहायता देने की घोषणा नही करता, तब तक शव का अंतिम संस्कार नही करेंगे। करीब तीन घंटे बाद प्रशासन ने सातों मृतकों के परिजनों को 12-12 लाख रुपए देने की घोषणा की, तब जाकर शवों को उठाया। जानकारी के अनुसार गांव खंखराई में शराब पीने से हुई 21 वर्षीय श्यामलाल पिता मोड़ीराम मेघवाल व 40 वर्षीय घनश्याम पिता रायसिंह बावरी की मौत हो गई थी। वहीं एक दिन पूर्व मनोहरलाल पिता लक्ष्मण बागरी की भी शराब पीने से मौत हुई थी।
इसके अलावा पिपलिया में गोर्धनसिंह पिता उमरासिंह राजपूत, गुड़भेली बड़ी में भी रामप्रसाद पिता नारायण गायरी, सिन्दपन निवासी कवंरलाल बागरी व उसके साडू महागढ़ निवासी भागीरथ की भी शराब पीने के बाद मौत हो गई। श्यामलाल व घनश्याम को छोड़कर सभी के अंतिम संस्कार हो चुके थे। श्यामलाल व घनश्याम के शव का पीएम रविवार को डॉ निशांत शर्मा ने किया था, लेकिन मामला तूल पकड़ने के बाद दोनों के शवों का मंदसौर पेनल टीम ने पीएम के किया। सुबह अंतिम संस्कार के लिए शवों को परिजनों को सौंपने लगे। लेकिन परिजनों के साथ मौके पर मौजूद प्रदेश कांग्रेस महामंत्री श्यामलाल जोकचन्द्र ने शवों का अंतिम संस्कार करने से मना कर दिया।
उनका कहना था जब तक जहरीली शराब पीने से हुई मौतों पर परिजनों को 10 लाख रुपए की आर्थिक सहायता नही मिल जाती, तब तक शवों को नही उठाएगें। करीब तीन घंटे तक शवों को मंदसौर पोस्टमार्टम रुम पर रखा गया। बाद में अतिरिक्त कलेक्टर आरपी वर्मा, शहर कोतवाली टीआई अमित सोनी अमले के साथ मौके पहुंचे। एडीएम वर्मा ने तत्काल शराब पीने से मृत 7 लोगों के परिजनों के खातों में 2-2 लाख रुपए संबल योजना के तहत डालने की घोषणा की साथ ही 10 लाख रुपए सरकार से प्रदान करने का आश्वासन दिया। तब तक शवों को उठाया। इस अवसर पर जिला कांग्रेस पिछड़ा वर्ग अध्यक्ष दीपक सिंह गुर्जर, मनजीत सिंह मनी, शैलेन्द्र जोशी, भूपेन्द्र महावर, सुनील बसेर, बालेश्वर पाटीदार, मनोहर सोनी, राजेश भारती, आशीष सुथार, गोपाल जोकचन्द्र आदि मौजूद थे।
शवों के अंतिम संस्कार को लेकर भी हुई जद्दोजहद:-
जानकारी के अनुसार प्रशासन शवों का अंतिम संस्कार कनघट्टी में करवाना चाहता था। प्रशासन का तर्क था कि बरसात हो रही है, गांव खंखराई में अंतिम संस्कार नही किया जा सकता। लेकिन कांग्रेस नेता जोकचन्द्र का कहना था कि अंतिम संस्कार गांव खंखराई में होगा, प्रशासन इसकी व्यवस्था करें। बाद में दोनों को जलाने के लिए अस्थाई कच्चे शेड बनाकर गांव खंखराई में ही अंतिम संस्कार किया।
घायलों को मिले निःशुल्क इलाज:-
जहरीली शराब पीने से अचेत हुए पिपलिया निवासी ब्रजेश गुर्जर, बही पाश्र्वनाथ निवासी चोकीदार भगतराम पिता मांगीलाल मेघवाल, पारस पिता रामनारायण पाटीदार मंदसौर निजी अस्पताल सिद्धी विनायक में इलाज करवा रहे है। जिनकी स्थिति गंभीर है। इलके इलाज में करीब एक-एक लाख रुपए खर्च हो चुका है। तीनों से मिलने अस्पताल पहुंचे कांग्रेस नेता जोकचन्द्र को परिजनों ने बताया आयुष्मान कार्ड होने के बावजूद मरीजों को निःशुल्क इलाज नही किया जा रहा है। जोकचन्द्र ने मंदसौर एडीएम आरपी वर्मा व मल्हारगढ़ एसडीएम रोशनी पाटीदार ने चर्चा कर शराब पीने के बाद गंभीर तीनों लोगों का निःशुल्क इलाज कराने की मांग की।
प्रदेश में ठेकों पर बिक रही नकली शराब:-
प्रदेश कांग्रेस महामंत्री श्यामलाल जोकचन्द्र ने आरोप लगाया कि प्रदेश में नकली शराब ठेकों से बिक रही है, इसकी हर माह सेंपलिंग ली जाए। शराब तस्कर शराब में मिलावट कर बेच रहे है। इससे लोगों की जानें जा रही है। मामले की निष्पक्ष जांच कर पर्दे के पीछे लोगों की जानें लेने वाले शराब माफियाओं व सफेदापोशों को भी बेनकाब किया जाना चाहिए। साथ ही ठेकेदार द्वारा जगह-जगह खोली जाने वाली कलालियां भी बंद होना चाहिए। प्रशासन घटना होने के बाद मात्र 5 रुपए क्वार्टर कमाने वाले गरीब व्यक्ति पर कार्रवाई कर देती है, लेकिन नकली शराब देने वाले बड़े व्यक्ति के गिरेबान पर हाथ नही डालती।
साथ ही गांव में महुए की कच्ची शराब बनाने वालों को टारगेट किया जाता है। लेकिन पुलिस मुख्य सरगना तक पहुँचने का साहस नही जुटा पाती। इनके पीछे राजनैतिक संरक्षण होने से ये बच जाते है। ये शराब माफिया मंत्री, विधायक व बड़े अधिकारियों की सेवा चाकरी करते है, वाहनों में घूमते है और मंच भी साझा करते है, और कई शराब माफिया तो खुद ही नेता बन गए है। जोकचन्द्र ने प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराजसिंह, गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ से मांग की कि शराबकांड की निष्पक्ष जांच कर पर्दे के पीछे यह सब खेल करने वाले सफेदपोशों पर भी कड़ी कार्रवाई की जाए।